**मुंबई:** साइबर अपराधों पर लगाम कसने के लिए चलाए जा रहे विशेष अभियान में, मुंबई क्राइम ब्रांच को एक बड़ी सफलता मिली है। क्राइम ब्रांच की यूनिट-2 ने एक ऐसे अंतरराष्ट्रीय गिरोह का पर्दाफाश किया है जो फर्जी कंपनियों के नाम पर बैंक खाते और सिम कार्ड एक्टिवेट करके साइबर धोखाधड़ी को अंजाम दे रहा था। इस कार्रवाई में अब तक 12 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है।
गुप्त सूचना के आधार पर, पुलिस को पता चला कि कांदिवली (पूर्व) में 'डी.जी. सर्ज कंसल्टेंसी' और 'प्रिरित लॉजिस्टिक्स प्राइवेट लिमिटेड' के नाम से चल रहे फर्जी दफ्तरों से साइबर धोखाधड़ी का रैकेट चलाया जा रहा है। ये आरोपी मुंबई की विभिन्न बैंकों में नए बचत और चालू खाते खोलकर उनके पासबुक, चेकबुक, ईमेल अकाउंट और पासवर्ड, साथ ही सिम कार्ड कोरियर और हाथों-हाथ मंगाते थे। इन अकाउंट्स को एक्टिवेट करने के बाद, उनका उपयोग साइबर धोखाधड़ी और ऑनलाइन ठगी के लिए किया जाता था।
**छापेमारी और हैरान कर देने वाला सामान बरामद**
12 अगस्त, 2025 को क्राइम ब्रांच की टीम ने इन दोनों ठिकानों पर छापा मारा। छापेमारी के दौरान पुलिस ने मौके से पांच आरोपियों - वैभव पटेल, सुनीलकुमार पासवान, अमनकुमार गौतम, खुशबु संदराजला और रितेश बांदेकर को गिरफ्तार किया। पुलिस ने उनके कब्जे से 2 लैपटॉप, 1 प्रिंटर, 25 मोबाइल फोन, विभिन्न बैंकों के 25 पासबुक, 30 चेकबुक, 46 एटीएम कार्ड, एक स्वाइप मशीन और विभिन्न कंपनियों के 104 सिम कार्ड बरामद किए। पूछताछ में आरोपियों ने खुलासा किया कि वे ये बैंक डिटेल्स 7 से 8 हजार रुपये में खरीदते थे।
**करोड़ों की ठगी का खुलासा**
पुलिस जांच में सामने आया है कि इस गिरोह ने कुल 943 बैंक खातों का इस्तेमाल किया, जिनमें से 181 खाते सिर्फ साइबर धोखाधड़ी के लिए इस्तेमाल किए गए थे। 1930 की साइबर हेल्पलाइन पर इन खातों से जुड़ी कुल 339 शिकायतें मिली हैं। इनमें से 16 शिकायतें मुंबई से, 46 महाराष्ट्र के बाकी हिस्सों से और 277 देश के अन्य राज्यों से थीं।
पुलिस के अनुसार, इस गिरोह ने अकेले मुंबई में ₹1,67,54,949 की ठगी की है। वहीं, महाराष्ट्र के अन्य हिस्सों में ₹10,57,32,791 और पूरे भारत में कुल ₹60,82,75,026 की धोखाधड़ी की है।
**पुलिस अधिकारियों की मेहनत**
यह बड़ी सफलता पुलिस आयुक्त, बृहन्मुंबई, श्री देवेन भारती, पुलिस संयुक्त आयुक्त (अपराध) श्री लखमी गौतम, अतिरिक्त पुलिस आयुक्त (अपराध) श्री शैलेश बलकवडे, पुलिस उपायुक्त (डिटेक्शन) श्री राज तिलक रौशन और सहायक पुलिस आयुक्त डी-दक्षिण श्री दिनकर शिलवटे के मार्गदर्शन में हासिल हुई है। यह कामयाबी क्राइम डिटेक्शन ब्रांच यूनिट-2 के प्रभारी पुलिस निरीक्षक श्री दिलीप तेजनकर और उनकी पूरी टीम के अथक प्रयासों का परिणाम है।
0 टिप्पणियाँ